जिला संवाददाता-चरण सिंह क्षेत्रपाल ( गरियाबंद)
राजधानी से जनता तक
गरियाबंद – गरियाबंद कलेक्टर दीपक अग्रवाल के निर्देशानुसार जिले के किसानों से फार्मर आई डी बनाने संबंधित विभाग को निर्देश दिया गया है। इसी तरह देवभोग जनपद पंचायत मुख्यकार्यकारी अधिकारी रवि सोनवानी ने देवभोग विकास खण्ड के 53 ग्राम पंचायतों में जितने भी किसाने है, वह अपनी फार्मर आई डी बनाने के लिए उक्त पंचायतों के सचिव को सूचना अवगत कराया गया है, और इसकी जानकारी ग्रामीण किसानों तक पहुंच सकें। गांव में सरकार कि विभिन्न योजनाओं को ग्रामीण जनताओं तक पहुंचाने में प्रचार प्रसार के लिए ग्रामीण इलाके से अशासकीय ग्राम कोटवारों को मुनादी करने के लिए आदेशित पत्र सीईओ के द्वारा जारी किया गया है। अब हमको यह जानना है कि फार्मर आई डी कार्ड कैसे बनाना है, कहा जा कर बनाया जा सकता है ।
फार्मर आई डी कार्ड क्या है ?
कृषकों की भूमि को आधार से लिंक कर उसकी एक आईडी बनाना, जिससे कि कृषक को केंद्र व राज्य सरकार द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं से लाभ लेने में एक ही आइडी का प्रयोग कर लाभ लिया जा सकता है।
फार्मर आई डी के लाभ
इस योजना के तहत कृषकों को विभिन्न योजनाओं का लाभ लेने में इस तरह से कुछ टीप्स नीचे दर्शाया गया है जैसे कि धान खरीदी उपार्जन केन्द्र में धान की समर्थन मूल्य पर कृषि उत्पादन की खरीदी, राज्य के वास्तविक सकल घरेलू उत्पाद के अनुमान, कृषकों को फसली ऋण एवं फसल बीमा की क्षतिपूर्ति राशि तथा आपदा राहत प्राप्त करने में सुगमता, कृषकों को समय से वांछित परामर्श विभिन्न संस्थाओं द्वारा कृषकों से समर्थन के अवसर में वृद्धि के साथ- साथ नवोन्मेषी कार्यक्रमों के विस्तार में सफलता। फार्मर रजिस्ट्री का प्रयोग कृषि के साथ -साथ अन्य संबंधित विभाग जिसमें गन्ना, उद्यान, मत्स्य, खाद्य एवं विपणन आदि के द्वारा अपने योजनाओं का लाभ प्रदान हेतु किया जा सकता है। तथा न्यूनतम समर्थन मूल्य पर कृषि उत्पाद के विपणन में सुगमता, पीएम किसान योजना के अंतर्गत किश्त प्रदाय किए जाने में अनिवार्यता की शर्त को पूर्ण कर लाभ प्राप्त करने में सुगमता होगी।
फार्मर रजिस्ट्री में कृषकों को उपलब्ध करायें जाने वाले आवश्यक अभिलेख
कृषक अपने आधार कार्ड, खतौनी की छाया प्रति, आधार पर पंजीकृत मोबाइल नंबर फार्मर रजिस्ट्री कृषकों द्वारा इन बार कोड में कराई जा सकती हैं। जैसे सेल्फ मोड़, सहायक मोड़, प्रशासनिक विभागों यथा पंचायत राज, ग्राम्य विकास, गन्ना उद्यान के क्षेत्रीय कर्मचारियों द्वारा।व कैम्प मोड़ के माध्यम से मोबाइल एप्लीकेशन, वेबसाइट के माध्यम से कृषि विभाग के कर्मचारी एवं राजस्व विभाग के लेखपाल द्वारा से व ग्रामीण क्षेत्रों में सीएससी मोड़ केवल वेबसाइट पोर्टल से जनसेवा केंद्र आपरेटर द्वारा किया जा सकता है।

Author: Rajdhani Se Janta Tak
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