एक हफ्ते में तीसरा आदेश, जब चाहे तब बदल रहे कर्मचारी, धान खरीदी होगी प्रभावित
लोरमी-सरकारी संस्थाएं सहकारिता विभाग मंुगेली के द्वारा गजब खेला देखने को मिल रहा है। विभाग के पंजीयक के नाम पर एक आदेश जारी हुआ है जिसमें धान खरीदी उपकेन्द्र कोदवा महंत में एक ऐसे कर्मचारी की नियुक्ति धान खरीदी प्रभारी के रूप में कर दिया गया है जिसकी न तो विभाग के पास रिकार्ड है और न ही कभी उन्होने स्थायी कर्मचारी के रूप में काम किया है। वही डोंगरिया में भी एक अस्थायी कर्मचारी की नियुक्ति किया गया है जिसको न तो खरीदी का अनुभव है और न ही आज तक उन्होने धान खरीदी संबधी कार्य किया है। विभाग के इस आदेश हैरान करने वाली है क्योंकि एक हप्ते में ही 3 आदेश निकाल चुके है जिसमें अलग-अलग कर्मचारियों की नियुक्ति की गई है। लगातार मिल रहे आदेश से धान खरीदी प्रभावित होने की आंशका जतायी जा रही है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार आदिम जाति सेवा सहकारी समिति डोंगरिया एवं उपकेन्द्र कोदवा महंत में पंजीयक ने संशोधित आदेश निकाला है जिसमें अपने ही आदेश को पलटते हुऐ संशोधित आदेश निकाला गया जिसमें कोदवा मंहत में भानुप्रताप डड़सेना जो कि आज तक सहकारिता रिकार्ड में आज तक कोई रिकार्ड नही है न तो नियुक्ति आदेश है और न ही कभी पंजीकृत कर्मचारी के रूप में काम किया है। उसको धान खरीदी प्रभारी बना दिया गया है। जबकि कुछ ही दिन पहले 108 कर्मचारियों की नियुक्ति आदेश पूरे मंुगेली जिले के लिए निकाला गया था जिसमें धान खरीदी उपकेन्द्र कोदवा महंत के लिए रूपेश जायसवाल को प्रभारी बनाया गया था और दीपक डड़सेना को कम्प्यूटर आपरेटर के रूप में नियुक्ति निकाला गया था। डोंगरिया में प्रदीप जायसवाल को धान खरीदी एवं अस्थायी कर्मचारी युवराज जायसवाल को बारदाना प्रभारी बनाऐ गऐ थे, लेकिन अब फिर से एक आदेश निकाला गया है जिसमें डोंगरिया का धान खरीदी प्रभारी अस्थायी कर्मचारी युवराज जायसवाल को बना दिया गया है जिसको न तो कार्य का अनुभव है और न ही अभी तक इन्होने कभी धान खरीदी संबधी कार्य किया है। दोनो जगह की आदेश पर पंजीयक के उपर सवाल खड़े कर रहे है कि आखिर में 3 दिन में ऐसा क्या कार्य कर दिया कि इतने जल्दी में दूसरे प्रभारियों की नियुक्ति कर दिया गया।
पूरे प्रदेश में ऐसा पहला मामला जहां कर्मचारी की नियुक्ति ही नही, फिर भी बना दिया खरीदी प्रभारी-
धान खरीदी उपकेन्द्र कोदवा महंत में जिस धान खरीदी प्रभारी की नियुक्ति किया गया है उस कर्मचारी भानूप्रताप डड़सेना का विभाग ने कभी नियुक्ति ही नही किया है फिर भी कैसे प्रभारी बना दिया गया है यह समझ से परे है।
जिस कर्मचारी की नियुक्ति हुई उसने कभी कार्य ही नही किया, कैसे संपन्न होगी धान खरीदी किसानो में चिंता-
आदिम जाति सेवा सहकारी समिति डोंगरिया में जिन कर्मचारियों की ड्यूटी लगायी गई है उन कर्मचारियों ने कभी धान खरीदी संबधी कार्य नही किया है, एक अस्थायी कर्मचारी है तो दूसरे का कोई रिकार्ड ही नही है। अब ऐसे में 2200 किसानो की पंजीकृत डोंगरिया एवं कोदवा समिति कैसे धान खरीदी संपन्न करेगी यह बड़ा सवाल है। क्योंकि इन दोनो जगहो पर 1 लाख से ज्यादा क्विंटल धान की खरीदी की जानी है।
इस संबध में जब मंुगेली पंजीयक हितेश श्रीवास से मोबाईल के माध्यम से संपर्क करने की कोशिश किया गया लेकिन उन्होने फोन रिसिव नही किया।

Author: Rajdhani Se Janta Tak
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